चौरासी कोसी परिक्रमा सड़क की हालात खस्ता


नैमिषारण्य से शुरू होने वाली यात्रा का पांचवां पड़ाव खस्ताहाल,
नीरज मिश्रा
सीतापुर नैमिषारण्य तीर्थ से फाल्गुन अमावस्या पर शुरू होने वाली पवित्र चौरासी कोसी परिक्रमा के मार्ग की स्थिति चिंताजनक है। हरदोई जिले के टड़ियावां विकास खंड में स्थित पांचवें पड़ाव का मार्ग पूरी तरह क्षतिग्रस्त है। विशेष रूप से सिहोना कुटी से अमेठिया बहादुरपुर तक का रास्ता टूट चुका है, जहां से हजारों संत-महात्मा नंगे पैर चलते हैं।
लखनऊ से 80 किलोमीटर दूर स्थित इस पौराणिक यात्रा का धार्मिक महत्व अत्यंत है। हिंदू शास्त्रों के अनुसार, इस परिक्रमा को पूर्ण करने वाला व्यक्ति चौरासी लाख योनियों के चक्र से मुक्ति पा जाता है। यह यात्रा फाल्गुन कृष्ण प्रतिपदा को चक्रतीर्थ में स्नान और सिद्धविनायक जी की पूजा से प्रारंभ होकर पूर्णिमा को मिश्रिख के दधीच कुंड पर समाप्त होती है।
परिक्रमा मार्ग में कुल 11 पड़ाव हैं, जिनमें से सात सीतापुर जिले में और पांच हरदोई जिले में स्थित हैं। यात्रा के 11वें दिन परिक्रमार्थी महर्षि दधीचि की नगरी मिश्रिख पहुंचते हैं, जहां वे अगले पांच दिनों में पंचकोसी परिक्रमा पूर्ण करते हैं। फाल्गुन पूर्णिमा को होलिका दहन से पहले दधीचि कुंड में स्नान और पूजन के साथ यह पवित्र यात्रा संपन्न होती है।
परिक्रमा के शुरू होने में कुछ ही दिन शेष हैं, लेकिन प्रशासन की ओर से मार्ग की मरम्मत को लेकर कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया है। यह स्थिति यात्रियों के लिए परेशानी का कारण बन सकती है।